वास्तु में बताए गए हैं रोटी बनाने के कुछ नियम, आप भी जानें

भारत में हर घर में रोटियां बनाई जाती हैं। रोटियां स्वास्थ्य के लिए काफी अच्छी होती हैं और वास्तु शास्त्र मैं भी रोटियों को लेकर काफी कुछ बताया गया है। वास्तु शास्त्र में किचन से संबंधित कई विशेष बातों का जिक्र है जिसमें रोटी बनाने को लेकर कुछ नियमों का जिक्र आता है।

वास्तु शास्त्र की मानें तो रोटी बनाने से जुड़े इन नियमों का पालन ना करने पर घर में आर्थिक परेशानियां दस्तक देने लगती हैं और घर में दरिद्रता आती है। इस आर्टिकल में हम आपको रोटियां बनाने से जुड़ी कुछ नियमों के बारे में ही बताने जा रहे हैं जिन्हें मानकर आप अपने घर में आर्थिक खुशहाली ला सकते हैं।

तो आइए इस बारे में जाने।
1. वास्तु शास्त्र की मानें तो घर में रोटियां गिन कर नहीं बनानी चाहिए। वास्तु शास्त्र में कहा गया है कि जिस घर में रोटियां गिन कर बनाई जाती है उस घर में परिवार के सदस्यों और घर की आर्थिक स्थिति दोनों पर ही बुरा असर पड़ता है। इसलिए घर में कभी भी रोटियां गिन कर ना बनाएं।
2. जब भी आप घर में रोटियां बनाएं तो वास्तु शास्त्र के मुताबिक घर की पहली रोटी गाय को ही देनी चाहिए। इससे घर में आर्थिक संपन्नता आती है। साथ ही घर की अंतिम रोटी कुत्ते को देनी चाहिए।
2. वास्तु शास्त्र के मुताबिक घर में अतिथि के लिए भी रोटी होनी चाहिए। इसलिए हमेशा दो रोटी ज्यादा बनाए ,ताकि अगर आपके घर कोई मेहमान आ जाए तो उसे आप रोटी परोस सके।
3. वास्तु शास्त्र कहता है कि हमेशा घर में दो रोटियां अधिक बनानी चाहिए क्योंकि अगर आपके घर में मेहमान आता है तो आप उसे रोटियां पर हो सके। साथ ही यदि मेहमान नहीं आता है तो रोजाना आप ही रोटी दिल्ली या फिर पक्षियों को खिला दें या फिर कुत्तों को खिला दें। इससे अन्न की देवी मां अन्नपूर्णा खुश रहती हैं और आपके घर में बरकत बनी रहती है।
4. वास्तु शास्त्र की बनाकर माने तो कभी भी बासी आटे का रोटी नहीं बनानी चाहिए। बासी रोटी का संबंध राहु से होता है। इसलिए कभी भी बासी आटे की रोटियां नहीं खानी चाहिए।

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